गुजरात। कपड़ा बाजार को किफायती, तेज और सुरक्षित तरीके से बढ़ावा देने के उद्देश्य से पहली ‘टेक्सटाइल पार्सल’ विशेष ट्रेन सूरत से रवाना हुई। 25 नए अत्याधुनिक बोगियों के साथ यह ट्रेन बिहार तक जाएगी। पश्चिम रेलवे के अधिकारी ने रविवार को इसकी जानकारी दी। रेलवे (डब्ल्यूआर) ने एक विज्ञप्ति में कहा कि रेल और कपड़ा राज्य मंत्री दर्शन जरदोश ने शनिवार को सूरत के उधना न्यू गुड्स शेड से पटना के पास दानापुर और बिहार के मुजफ्फरपुर के पास राम दयालू नगर के लिए ट्रेन को हरी झंडी दिखाई। डब्ल्यूआर के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी सुमित ठाकुर ने विज्ञप्ति में बताया कि उधना न्यू गुड्स शेड में कस्टमाइज्ड एनएमजी (न्यू मोडिफाइड गुड्स) बोगियों में पहली बार टेक्सटाइल ट्रैफिक लोड किया गया है। इस दिशा में 25 एनएमजी बोगियों वाली टेक्सटाइल पार्सल स्पेशल ट्रेन पहली बार उधना न्यू गुड्स शेड से पटना और मुजफ्फरनगर के लिए चलाई गई। विज्ञप्ति में कहा गया कि यह विशेष रूप से सूरत क्षेत्र के कपड़ा बाजार को लाभान्वित करेगा, क्योंकि यह किफायती, तेज और सुरक्षित है। इसने कपड़ा बाजार की विशाल क्षमता का दोहन करने का अवसर प्रदान किया है। यह पहल सूरत और उसके आसपास कपड़ा उद्योग गोदाम केंद्रों की परिवहन आवश्यकताओं को पूरा करेगी। हाल ही में, पश्चिम रेलवे के मुंबई डिवीजन ने पहली बार 202.4 टन वजन की कपड़ा सामग्री को सूरत के पास चलथन से कोलकाता के शालीमार तक पहुंचाया था। डब्ल्यूआर ने एनएमजी वैगन लोडिंग के लिए इस प्रकार के यातायात को संभालने के लिए मुंबई डिवीजन में चार टर्मिनल-सूरत, उधना न्यू गुड्स शेड, चलथन और गंगाधारा को तैयार किया है। विज्ञप्ति में कहा गया कि एनएमजी रैक का चलना सूरत क्षेत्र से भारत के विभिन्न हिस्सों में जाने वाले कपड़ा यातायात की हिस्सेदारी बढ़ाने के लिए एक बड़ा बूस्टर होगा। पश्चिम रेलवे के मुताबिक परिवहन और व्यापारी संघों के साथ नियमित बैठकों ने रेलवे के पति उद्योग की धारणा को बदलने में मदद की है। इस अवसर पर डब्ल्यूआर के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ स्थानीय विधायक और फेडरेशन ऑफ सूरत टेक्सटाइल ट्रेडर्स एसोसिएशन के प्रतिनिधि उपस्थित थे।