हिमाचल प्रदेश। अब प्रदेश के सभी स्कूलों को विद्यांजलि प्रोजेक्ट के तहत पंजीकृत किया जाएगा। शिक्षा विभाग ने सभी जिलों को आदेश दे दिए हैं। सभी जिलों के स्कूल तीन दिसंबर तक इस प्रोजेक्ट के तहत पंजीकृत होने हैं। पहले प्रदेश में यह प्रोजेक्ट पायलट रूप में लागू किया था। इसमें सभी जिलों के 100-100 स्कूल चयनित किए गए थे। अब पायलट प्रोजेक्ट सफल होने पर विद्यांजलि प्रोजेक्ट प्रदेश के सभी स्कूलों में चलाया जा रहा है। प्रदेश में दिवाली पर यह पायलट प्रोजेक्ट शुरू किया गया। इसके तहत स्कूलों में स्वयंसेवियों की सेवाएं ली जाएंगी। प्रोजेक्ट के तहत पहला शिक्षण कला और शिल्प, योग, खेल, संस्कृति, स्थानीय भाषाओं को पढ़ाना, व्यावसायिक कौशल, प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए कोचिंग नशीली दवाओं के खतरे पर माता-पिता और छात्र परामर्श, अन्य सामाजिक मुद्दे स्कूल के कार्यक्रमों, शिविरों, प्रशिक्षकों का प्रायोजन स्वास्थ्य और सुरक्षा पहल आदि में सहयोग करना है। दूसरा स्वयंसेवी संपत्ति, सामग्री, उपकरण का योगदान बुनियादी नागरिक बुनियादी ढांचा, बुनियादी विद्युत अवसंरचना, डिजिटल इन्फ्रास्ट्रक्चर सह-पाठयक्रम गतिविधियों और खेल के लिए उपकरण, कक्षा की जरूरतें व रखरखाव की मरम्मत आदि दान देकर भी योगदान दे सकते हैं। हालांकि अभी तक स्कूलों को स्वयंसेवियों का पंजीकरण नहीं करना है। इस परियोजना के जिला नोडल अधिकारी सुनील कुमार ने कहा कि अब सभी स्कूलों को विद्यांजलि प्रोजेक्ट से जोड़ा जाएगा। पहले यह प्रोजेक्ट पायलट रूप में चलाया गया था। इसमें हर जिले से 100-100 स्कूलों का चयन किया गया था। अब सभी स्कूलों को इसमें पंजीकृत होना है। जिले में 750 स्कूल हैं और सभी को आदेश दे दिए गए हैं।