नई दिल्ली। भारतीय सेना की ताकत लगातार बढ़ रही है। रक्षा मंत्रालय ने गुरूवार को भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (बीईएल) के साथ 1,075 करोड़ रूपये के अनुबंध पर हस्ताक्षर किया है। रक्षा मंत्रालय के मुताबिक इस अनुबंध के तहत 957 टी-90 युद्धक टैंकों का रेट्रो-मॉडिफिकेशन किया जाएगा। इसके बाद टी-90 के कमांडर लंबी दूरी पर भी लक्ष्य का पता लगा सकेंगे।
मंत्रालय के बयान में कहा गया है कि भारत के प्रमुख युद्धक टैंक टी-90 की कमांडर साइट रात में देखने के लिए इमेज कन्वर्टर ट्यूब आधारित ट्रष्टि से सुसज्जित है। इसे रक्षा अनुसंधान विकास संगठन (डीआरडीओ) और बीईएल ने संयुक्त रूप से विकसित किया है।
टी-90 टैंक की नई रेट्रो-मॉडिफाइड कमांडर साइट में दिन और रात में 8 किमी पर लक्ष्य का पता लगाने में सक्षम थर्मल इमेजर और 5 किमी तक की दूरी को सटीक रूप से खोजने के लिए एक लेजर रेंजर फाइंडर (एलआरएफ) लगाया गया है।
जिससे लंबी दूरी तक लक्ष्य साधने की क्षमता बढ़ गई है। रक्षा मंत्रालय ने बताया कि टी-90 टैंक के कमांडर बैलिस्टिक सॉफ्टवेयर और एलआरएफ में सुधार के बाद अभूतपूर्व सटीकता के साथ निशाने का पता लगा सकते हैं, उस पर निशाना साध सकते हैं और उन्हें बेअसर कर सकते हैं।