New Parliament Building: नए संसद भवन का उद्घाटन 28 मई को होने वाला है। लेकिन इससे पहले सियासत तेज हो गई है। कई विपक्षी पार्टियों ने इस समारोह का बहिष्कार किया है। अब नए संसद भवन के उद्घाटन का मामला शीर्ष कोर्ट पहुंच गया है। सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की गई है। दाखिल हुए याचिका में मांग की गई है कि संसद के नए भवन का उद्घाटन राष्ट्रपति द्वारा किया जाना चाहिए।
याचिका में की गई मांग
सुप्रीम कोर्ट में गुरुवार को दायर याचिका में कहा गया है कि राष्ट्रपति को उद्घाटन समारोह से बाहर करके, सरकार ने भारतीय संविधान का उल्लंघन किया है। संविधान का सम्मान नहीं किया जा रहा है। इसमें मांग की गई है कि संसद के नए भवन का उद्घाटन राष्ट्रपति द्वारा किया जाना चाहिए। राष्ट्रपति के पास किसी भी सदन को बुलाने और सत्रावसान करने की शक्ति है। साथ ही संसद या लोकसभा को भंग करने की शक्ति भी राष्ट्रपति के पास है। याचिका में कहा गया है कि राष्ट्रपति संसद का एक अभिन्न अंग है। शिलान्यास समारोह से राष्ट्रपति को क्यों दूर रखा गया है। पहले तो जब इमारत का शिलान्यास हुआ तो राष्ट्रपति को इससे दूर रखा गया। अब जब नई संसद का उद्घाटन हो रहा है तो भी उनको दूर रखा जा रहा है।