Weather: इस समय भारी बारिश के चलते चारों ओर त्राही त्राही मची हुई है. वहीं, उत्तराखंड में बादल फटने की वजह से चार लोग पानी में बह गए. ऐसे में हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में बिगड़े हालात को लेकर भारतीय मौसम विभाग (आईएमडी) के महानिदेशक मृत्युंजय मोहपात्रा ने बताया कि अचानक भारी बारिश का कारण असल में मानसून रेखा (ट्रफ) का दक्षिण से उत्तर की ओर खिसकना है.
उन्होंने कहा कि दिल्ली के लिए भी दो दिन की अग्रिम अवधि के साथ ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया था. वहीं, केंद्रीय पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के पूर्व सचिव माधवन राजीवन का कहना है कि हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड और दिल्ली में भारी बारिश का दौर कम से कम एक दिन और जारी रहेगा. इसके अलावा अगले 8-10 दिनों में महाराष्ट्र समेत उत्तर भारत में अधिक बारिश होगी.
कृषि उत्पादन को मिलेगा बढ़ावा
इसके साथ ही प्रायद्वीपीय भारत और पश्चिमी तट पर कम बारिश के होने के आसार है. उन्होंने बताया कि ला नीना मौसम पैटर्न के कारण देश में अगस्त-सितंबर के महीने में औसत से ज्यादा बारिश होने की संभावना है. माधवन ने कहा कि करीब 3.5 लाख करोड़ डॉलर की अर्थव्यवस्था के लिए मानसून जीवनरेखा की तरह है, जिससे कृषि उत्पादन और विकास को बढ़ावा मिलता है.
औसत से अधिक होगी बारिश
वहीं, मोहपात्रा ने कहा कि हम ला नीना मौसम की स्थिति की तरफ बढ़ रहे हैं और इसका प्रभाव भी दिखाई देने लगा है. उन्होंने कहा कि अगस्त के अंत या सितंबर की शुरुआत में ला नीना पैटर्न विकसित होने से भारत में सामान्य से अधिक वर्षा होगी. इसके अलावा, अगस्त और सितंबर में भारत में औसत 422.8 मिमी से 106 फीसदी ज्यादा बारिश होने की पूरी संभावना है.
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