असम में भड़की हिंसा, 2 की मौत, 38 पुलिसकर्मियों समेत 45 घायल

Assam: असम के अशांत कार्बी आंगलोंग जिले में मंगलवार को एक बार फिर हिंसा भड़क उठी. यह तब हुआ जब प्रदर्शनकारियों के दो गुट आपस में भिड़ गए और पुलिस को उन्हें तितर-बितर करने के लिए लाठीचार्ज के साथ-साथ आंसू गैस के गोलों का सहारा लेना पड़ा. अधिकारियों ने बताया कि हिंसा में कम से कम 38 पुलिसकर्मी समेत 45 लोगों के घायल होने की खबर है. जबकि दो लोगों की मौत हो चुकी है. इस झड़प और हिंसा के बाद राज्य सरकार ने कार्बी आंगलोंग और वेस्ट कार्बी आंगलोंग जिलों में अस्थायी रूप से इंटरनेट सेवाएं निलंबित कर दी हैं.

असम के सीएम स्थिति पर कड़ी नजर रख रहे

असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने कहा कि वे पश्चिम कार्बी आंगलोंग जिले में जारी हिंसा पर कड़ी नजर रख रहे हैं. उन्होंने कहा, “मैं पश्चिम कार्बी आंगलोंग में स्थिति पर बारीकी से नजर रख रहा हूं. आज की अशांति में दो लोगों की जान जाना बेहद दुखद है. शांति बनाए रखने के लिए कल खेरानी में अतिरिक्त सुरक्षा बल तैनात किए जाएंगे. हम सभी संबंधित पक्षों के साथ निरंतर संपर्क में हैं ताकि स्थिति सामान्य हो सके और बातचीत के जरिए मुद्दों का समाधान हो सके. मेरी गहरी संवेदनाएं शोक संतप्त परिवारों के साथ हैं.

क्यों भड़की हिंसा?

इंडिया टुडे से जुड़े पूर्ण बिकाश बोरा की रिपोर्ट के मुताबिक रविवार, 21 दिसंबर को पुलिस ने 9 प्रदर्शनकारियों को हिरासत में ले लिया था. इसमें आंदोलन के एक प्रमुख नेता लित्सोंग रोंगफार भी शामिल थे. जैसे ही यह खबर फैली, गांववालों और आंदोलन के समर्थकों में गुस्सा भड़क गया. इसके बाद भूख हड़ताल वाली जगह पर सोमवार की सुबह काफी लोग जमा हो गए. प्रदर्शनकारियों ने सड़कें जाम कर दीं और कथित तौर पर इलाके में गाड़ियों और दुकानों में तोड़फोड़ की. इससे इलाके में तनाव बढ़ गया. 

पुलिस का लाठीचार्ज, आंसू गैस के गोले

घटना की शुरुआत उस वक्त हुई जब बेदखली के विरोध और समर्थन में उतरे दो गुट आमने-सामने आ गए. देखते ही देखते विवाद इतना बढ़ गया कि दोनों ओर से पथराव और मारपीट शुरू हो गई. स्थिति को नियंत्रित करने के लिए पुलिस को बल प्रयोग करना पड़ा. पुलिस ने उग्र भीड़ को तितर-बितर करने के लिए लाठीचार्ज किया और आंसू गैस के गोले दागे.

सरकार ने लगाया इंटरनेट पर ब्रेक

हिंसा के बाद अफवाहों को फैलने से रोकने और शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए राज्य के गृह एवं राजनीतिक विभाग ने तत्काल प्रभाव से इंटरनेट सेवाओं को बंद करने का आदेश जारी किया है. आधिकारिक आदेश में कहा गया है कि असामाजिक तत्वों द्वारा सोशल मीडिया के जरिए स्थिति को और ज्यादा बिगाड़ने की आशंका है, इसलिए सार्वजनिक शांति बनाए रखने के लिए यह कदम उठाया गया है. इंटरनेट निलंबन का यह आदेश अगली सूचना तक प्रभावी रहेगा.

इसे भी पढ़ें:-सीएम मोहन यादव ने धार में मेडिकल कॉलेज का किया शिलान्यास, जेपी नड्डा भी रहे मौजूद

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *