मेरठ। मेरठ से दिल्ली रैपिड रेल कॉरिडोर का कार्य रफ्तार पकड़ रहा है। मेरठ में पहला बैक फीडिंग लॉन्चिंग गर्डर बुधवार को तैयार कर दिया गया। इसकी मदद से एक पिलर को दूसरे पिलर से जोड़ा जाएगा। इसे शताब्दी नगर से रिठानी के बीच बनाए गए पिलर पर स्थापित किया गया है। राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र परिवहन निगम भूमिगत और एलिवेटेड ट्रैक पर कार्य करा रहा है। दिल्ली, गाजियाबाद, मेरठ आरआरटीएस कॉरिडोर के कार्य में यह 16वां लॉन्चिंग गर्डर है। यह गर्डर रिठानी से मेरठ के उत्तरी दिशा की ओर कार्य करेगा और एलिवेटेड सेक्शन का निर्माण करेगा। मेरठ साउथ के बाद, परतापुर, रिठानी, शताब्दी नगर और ब्रह्मपुरी एलिवेटेड स्टेशन हैं, इसके बाद कॉरिडोर भूमिगत हो जाता है। मेरठ सेंट्रल, भैंसाली और बेगमपुल का भूमिगत स्टेशन होगा। इसके बाद फिर कॉरिडोर एलिवेटेड होकर मोदीपुरम की ओर चला जाता है। इस लॉन्चिंग गर्डर (तारिणी) की खास बात यह है कि इसकी लिफ्टिंग पोजीशन मूव करने वाली है। जिससे प्री-कास्ट सेगमेंट को यह नीचे से उठाने के साथ-साथ पिछले हिस्से से भी उठा लेता है, जिसे बैक फीडिंग कहते हैं। यह सेगमेंट को निर्धारित स्थान पर स्थापित करता है। जबकि ज्यादातर लांचिंग गर्डर प्री कास्ट सेगमेंट को ठीक नीचे से उठाते हैं और दूसरे सेगमेंट से जोड़ते जाते है। गर्डर तैयार होने के बाद प्री कास्ट सेग्मेंटस को बड़े ट्रकों में साइट पर लाया जाएगा।