अफगानिस्तान के हालात को देखते हुए हम बदलेंगे अपनी रणनीति: रक्षा मंंत्री

नई दिल्‍ली। अफगानिस्तान पर तालिबान का कब्जा हो जाने के बाद वहां के हालात बहुत ही चुनौतीपूर्ण हो गए हैं। इन हालातों ने कई देशों को अपनी रणनीति में बदलाव करने के लिए मजबूर कर दिया है। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने रविवार को तमिलनाडु के वेलिंगटन में डिफेंस सर्विस स्टाफ कॉलेज में कहा कि वर्तमान हालातों ने हमें मजबूर कर दिया है कि हम अपनी रणनीति में बदलाव करें। अब भारत, अफगानिस्तान पर दोबारा से सोच रहा है और नई रणनीति तैयार कर रहा है। राजनाथ सिंह ने कहा कि ऐसी ही चुनौतियों से लड़ने के लिए रक्षा मंत्रालय इंटीग्रेटेड बैटल ग्रुप बनाने पर तेजी से विचार कर रहा है। क्योंकि युद्ध के समय सबसे महत्वपूर्ण होता है कि आप कितनी जल्दी निर्णय ले रहे हैं। ये बैटल ग्रुप जल्द निर्णय तो लेंगे ही साथ लड़ाकों की यूनिट भी तैयार करेंगे। ये बैटल ग्रुप हमारे दुश्मनों का खात्मा करने में सक्षम होंगे। रक्षा मंत्री ने कहा कि हमारा प्रयास है कि भारत के युवा, सैनिकों जैसी राष्ट्रभक्ति और अनुशासन सीखें। इसके लिए हमें नए रास्ते खोजने होंगे, जिससे सेना के प्रति युवाओं के रूझान को बढ़ाया जा सके। इसके लिए रक्षा मंत्रालय टूर ऑफ ड्यूटी पर गंभीरता से विचार कर रहा है। उन्होंने कहा कि मुझे भरोसा है कि यह निर्णय हमारे लिए गेम चेजिंग साबित होगा और भारतीय सेना की औसत उम्र को भी कम कर देगा। रक्षा मंत्री ने पाकिस्तान पर भी जमकर हमला बोला। उन्होंने कहा कि दो लड़ाईयां हारने के बाद पाकिस्तान ने भारत के खिलाफ आतंक का सहारा लेना शुरू कर दिया। वह आतंकियों को हथियार व प्रशिक्षण दे रहा है, लेकिन एक बात मैं स्पष्ट करना चाहता हूं कि अब भारत बदल चुका है और वह अपनी जमीन पर आतंकियों को पनपने तो देगा ही नहीं साथ ही उनके खिलाफ अभियान भी चलाएगा। भारत-पाकिस्तान सीमा पर इस समय शांति इसलिए है क्योंकि पाकिस्तान जानता है कि भारत अपने रक्षात्मक रवैये को छोड़कर अब प्रतिक्रिया भी देने लगा है। 2016 में बालाकोट स्ट्राइक में यह बात दुनिया ने जान ली है। राजनाथ सिंह ने कहा कि चीनी सेना जब हमारी सीमा की ओर बढ़ रही थी तब हालात बहुत ही चुनौतीपूर्ण हो चुके थे। मैनें रात 11 बजे आर्मी चीफ से बात की। इसके बाद हमारी सेनाओं ने फिर से साबित किया कि वे दुश्मनों से देश की सीमा की रक्षा के लिए कितने प्रतिबद्ध हैं।

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