नई दिल्ली। बेंगलुरु एयर शो में मंगलवार को रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने विभिन्न देशों के रक्षा मंत्रियों के सम्मेलन की अध्यक्षता की। इस दौरान अपने संबोधन में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि भारत सहायता की जरूरत वाले देशों को उपदेश या पूर्व निर्धारित समाधान देने में विश्वास नहीं रखता है। एयरो इंडिया में विभिन्न देशों के रक्षा मंत्रियों को संबोधित करते हुए राजनाथ सिंह ने आतंकवाद और गंभीर सुरक्षा चुनौतियों का सामना करने के लिए सभी देशों को एकजुट होने का आह्वान किया।
रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि भारत पुराने पितृसत्तात्मक या नव औपनिवेशिक प्रतिमानों में सुरक्षा मुद्दों से निपटने में विश्वास नहीं करता है और यह हमेशा उनका मुकाबला करने के लिए एक सामूहिक दृष्टिकोण को प्राथमिकता देता है। हम सभी देशों को भागीदार मानते हैं और उनके आंतरिक मामलों या उन पर कोई सुपर नेशनल समाधान थोपने की कोशिश नहीं करते। रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि हम धर्मोपदेश या पहले से निर्धारित समाधान देने में विश्वास नहीं करते हैं और सहायता चाहने वाले देशों के राष्ट्रीय मूल्यों का सम्मान करते हैं।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि भारत अपने सहयोगी देशों की क्षमता निर्माण का समर्थन करता है, ताकि वह खुद अपनी नियति तय कर सकें। ऐसे देश हैं, जो सैन्य, तकनीक और समृद्ध हैं लेकिन उन्हें इस बात का अधिकार नहीं है कि वह मदद वाले देशों पर अपना समाधान थोपें। माना जा रहा है कि राजनाथ सिंह ने यह टिप्पणी चीन के संदर्भ में की है। चीन पर आरोप लगते हैं कि वह कर्ज के जाल में फंसाकर देशों पर दबाव बनाने की रणनीति बनाता है।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने रक्षा मंत्रियों के सम्मेलन से इतर कई डिफेंस कंपनियों के सीईओ से भी मुलाकात की। ओरिजनल इक्विपमेंट मैन्यूफैक्चरर्स कंपनियों के सीईओ के साथ राजनाथ सिंह की मुलाकात हुई, जिसमें देश में हथियारों के निर्माण को बढ़ाने पर बात हुई।