Chardham Yatra: केदारनाथ धाम के बाद आज मांगलिक स्वर लहरियों के बीच बदरीनाथ धाम के भी कपाट खुल गए है. ऐसे में अब छह माह तक श्रद्धालु भगवान बदरीविशाल के दर्शन पूजन कर सकेंगे. कपाट खुलते ही धाम में आस्था का सैलाब उमड़ पड़ा. वहीं, सीएम पुष्कर सिंह धामी ने भी तीर्थयात्रियों को कपाट खुलने की शुभकामनाएं दी.
कपाट खुलने के दौरान हल्की बारिश, आर्मी बैंड एवं ढोल नगाड़ों की मधुर धुन, स्थानीय महिलाओं के पारंपरिक संगीत और नृत्य के साथ भगवान बदरीविशाल की स्तुति ने श्रद्धालुओं को मंत्रमुग्ध कर दिया. धार्मिक परंपराओं के निर्वहन के साथ कुबेर जी, उद्धव जी एवं गाडू घड़ा दक्षिण द्वार से मंदिर में परिसर में लाया गया. जिसके बाद मंदिर के मुख्य पुजारी रावल समेत धर्माधिकारी, हक हकूकधारी एवं बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति के पदाधिकारियों ने प्रशासन एवं हजारों श्रद्धालुओं की मौजूदगी में विधि विधान के साथ मंदिर के कपाट खोले.
Chardham Yatra:15 क्विंटल फूलों से सजा बदरीनाथ मंदिर
वहीं, मुख्य पुजारी वीसी ईश्वर प्रसाद नंबूदरी ने गर्भगृह में भगवान बदरीनाथ की विशेष पूजा-अर्चना करते हुए सबके लिए मंगलमय जीवन की कामना की. कपाट खुलने के मौके पर श्रीबदरीनाथ पुष्प सेवा समिति ऋषिकेश के सहयोग से आस्था पथ से लेकर धाम को ऑर्किड और गेंदे के 15 क्विंटल फूलों से सजाया गया है.
Chardham Yatra: आदिकेदारेश्वर के कपाट भी खुले
बता दें कि बदरीनाथ धाम के कपाट खुलने से पहले आदिकेदारेशवर मंदिर के कपाट खुलते है. ऐसे में 12 मई की सुबह पांच बजे से बदरीनाथ मंदिर के कपाट खोलने की प्रक्रिया शुरू हुई, इसके तहत 5: 20 मिनट पर पर वैदिक मंत्र उच्चारण शुरू हुए. जब रावल ने बदरीनाथ मंदिर के द्वार दरवाजे पर लगी सील को खोला, उसी समय राज दरबार के प्रतिनिधि कांता प्रसाद नौटियाल ने मंदिर के मुख्य द्वार का दरवाजा खोला और सर्वप्रथम बदरीनाथ के रावल और बतला बड़वा ने मंदिर के गर्भ गृह में प्रवेश किया.
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