हिमाचल प्रदेश। मधुमेह, काली खांसी के साथ-साथ अब शरीर के बैड कोलेस्ट्रॉल और ट्राइग्लिसराइडस को कैक्टस फ्रूट का जूस, जैम और मुरब्बा दूर करेगा। जंगल और बंजर इलाकों में पैदा होने वाले कैक्टस के फल (प्रिक्ली पीयर) में ऐसे औषधीय गुणों का पता चला है, जो उपरोक्त बीमारियों को दूर या कम करने में सहायक है।
डॉ. यशवंत सिंह परमार उद्यानिकी एवं वानिकी विश्वविद्यालय के खाद्य विज्ञान व प्रौद्योगिकी विभाग के वैज्ञानिकों को इस जंगली फल के शोध से इसके औषधीय गुणों का पता लगाया है।
वैज्ञानिकों ने कैक्टस के फल से जूस, जैम और मुरब्बा बनाने में सफलता हासिल की है। इस जंगली फल पर शोध कर इसका मानकीकरण किया गया है। निदेशक अनुसंधान डॉ. रविंदर शर्मा ने बताया कि विश्वविद्यालय यह तकनीक किसानों और उद्यमियों को एमओयू साइन करने पर कम लागत में उपलब्ध करवा सकता है।
ट्राइग्लिसराइडस एक तरह का फैट होता है, जो हमारे खून में पाया जाता है। शरीर में इसकी अधिक मात्रा से दिल की बीमारियां होती हैं। इससे उच्च रक्तचाप और मधुमेह की शिकायत होती है। कैक्टस से बना जूस, जैम और मुरब्बा इसे नियंत्रित करता है।