हेल्थ। दुनियाभर के ज्यादातर लोग डिप्रेशन, एंग्जायटी, स्ट्रेस आदि डिसऑर्डर आदि की समस्या से परेशान है। इसकी शुरूआत पहले छोटी-छोटी बातों पर उदास होने या किसी काम या बात को लेकर परेशान रहने से होती है। ये धीरे-धीरे मूड के साथ इमोशनल, साइकोलॉजिकल और सोशल वेल-बीइंग खराब होने लगता है और शरीर को भी नुकसान पहुंचने लगता है। ऐसी खराब मेंटल हेल्थ को लोग नजरअंदाज कर देते हैं। जो एक समय के बाद जीवन के लिए बड़ा खतरा बन सकता है। लेकिन कुछ पोषक तत्वों को अपनें डाइट में शामिल कर इस समस्या से निजात पाया जा सकता है। और गम-उदासी को अपने उपर हावी होने से रोक सकते है। पोषक तत्वों से भरपूर चीजें खाने पर मानसिक स्वास्थ्य के लिए जरूरी सेरोटोनिन, ऑक्सीटोसिन, डोपामाइन और एंडोर्फिन हॉर्मोन का उत्पादन बढ़ता है। तो चलिए जानते है खराब मेंटल हेल्थ को ठीक करने के तरीके के बारे में…
खराब मेंटल हेल्थ सही करने का तरीका
मानसिक स्वास्थ्य के लिए विटामिन सी
विटामिन सी लेने से शरीर में ऑक्सीटोसिन बढ़ता है, जो खराब मूड को सुधारता है। इसे पाने के लिए आंवला, संतरा, नींबू, अमरूद आदि को मौसम के हिसाब से डाइट में शामिल करनें से बेहद ही कारगर साबित हो सकता है।
मैग्नीशियम
सेरोटोनिन के उत्पादन के लिए मैग्नीशियम बेहद ही आवश्यक होता है। यह खराब मेंटल हेल्थ के लक्षणों को दूर रखने में मदद करता है और मूड खुशनुमा बनाता है। इसे पाने के लिए पालक, केला, काजू और कोको का सेवन करना चाहिए।
नियासिन (विटामिन बी3)
विटामिन बी3 को ही नियासिन कहा जाता है। जो कि उदासी और दुख की भावनाओं को दबाने में मदद करता है। क्योंकि, इससे ऑक्सीटोसिन का उत्पादन बढ़ता है। यह विटामिन मूंगफली, सूरजमुखी के बीज और ब्रॉकली आदि में मिलता है।
टायरोसिन
टायरोसिन शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य के लिए जरूरी अमिनो एसिड है। जो मूड को सुधारने वाले डोपामाइन और एपिनेफ्रीन को बढ़ाता है। आपको यह तत्व कद्दू के बीज, तिल के बीज और दूध खाने से मिलता है।
फोलेट (विटामिन बी9)
विटामिन बी9 को फोलेट भी कहा जाता है। यह पोषक तत्व मेंटल हेल्थ को सुधारने वाले डोपामाइन और सेरोटोनिन के सिंथेसिस में मदद करते हैं। इसे पाने के लिए हरी पत्तेदार सब्जियां, मटर, छोले और राजमा का सेवन करें।