गोरखपुर। गुरू पूर्णिमा का पर्व गोरखनाथ मंदिर में परंपरागत रूप से मनाया जाएगा। इस उत्सव में करोना प्रोटोकाल का पालन किया जाएगा। स्मृति सभागार में आयोजित होने वाले कार्यक्रम में जो भी भक्त वहां आएंगे, वह गोरक्ष पीठाधीश्वर को तिलक नही लगाएंगे। न ही पीठाधीश्वर भक्तों को तिलक लगाएंगे। यह सब करोना को देखते हुए किया जाएगा। दूर से ही पीठाधीश्वर भक्तों को आशीर्वाद देंगे। इस कार्यक्रम का आनलाइन प्रसारण किया जाएगा। शनिवार को होने वाले गुरु पूर्णिमा के कार्यक्रम के लिए मंदिर प्रबंधन ने साधु, संत, पुजारी, के अलावा मंदिर से जुड़े प्रमुख लोगों व जनप्रतिनिधियों को आमंत्रण भेजा जा रहा है। इस अवसर पर लोक गायक राकेश श्रीवास्तव भजन व गीत प्रस्तुत करेंगे। कार्यक्रम के समापन के बाद भक्त गण प्रसाद ग्रहण करेंगे। मंदिर के सचिव द्वारिका तिवारी ने बताया कि मंदिर में गुरु पूजा का कार्यक्रम बहुत सुबह शुरू हो जाता है। गोरक्ष पीठाधीश्वर सबसे पहले गुरू गोरखनाथ की पूजा अर्चना करते हैं। फिर सभी नाथ योगियों की समाधि पर जाकर पूजा करते हैं। उसके बाद सामूहिक आरती की जाती है। पूजा के बाद पीठाधीश्वर अपने शिष्यों के बीच होते हैं। पहले सभी शिष्य बारी बारी से गुरू के पास जाकर उन्हें तिलक लगाते थे और उनका आशीर्वाद लेते थे। इस बार ऐसा नही होगा। करोना के चलते तिलक की परंपरा में बदलाव किया गया है।