जनपद के क्षय रोगियों की हो रही जियो टैगिंग

गाजीपुर। केंद्र सरकार का संकल्प है कि वर्ष 2025 तक देश टीबी मुक्त हो जाए। इसको लेकर कोरोना काल में भी टीबी मरीजों की तलाश की जारी रही। अब विभाग मरीजों का जियो टैंगिग करेगा। इसके लिए स्वास्थ्य कर्मी टीबी मरीजों के घर जाकर उनकी लोकेशन निक्षय पोर्टल पर दर्ज करेंगे। टीम को वर्ष 2019, 2020 तथा 2021 के निजी एवं सरकारी क्षेत्र के सभी क्षय रोगियों की जियो टैगिग करते हुए उनकी लोकेशन अपडेट करना है। तीन वर्षों में कुल 6205 टीबी रोगी पंजीकृत किये जा चुके हैं, जिनका 10 जुलाई तक पोर्टल पर आनलाइन डाटा भरना है। इससे यह पता चल जाएगा कि किस क्षेत्र या गांव में टीबी रोगियों की सघनता ज्यादा है, जिससे टीबी रोगी खोजी अभियान के दौरान उस क्षेत्र पर विशेष फोकस किया जा सके। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ गिरीश चंद्र मौर्य ने बताया कि भारत सरकार की सेंट्रल टीबी डिवीजन के निर्देश के क्रम में पूरे प्रदेश के क्षय रोगियों का लोकेशन ऑनलाइन किए जाने का निर्देश दिया गया है जिसको लेकर साल 2019 से लेकर 2021 तक के सभी क्षय रोगियों की लोकेशन को टैग किया जा रहा है। ताकि उनका आसानी से पता लगाकर उपचार किया जा सके। जिला प्रोग्राम को-ऑर्डिनेटर डॉ मिथिलेश सिंह ने बताया कि जियो टैगिग से क्षय रोगियों के बारे में सभी जानकारियां आनलाइन हो जाएंगी, जिस पर शासन व जिला प्रशासन स्तर से बराबर निगरानी की जाएगी। इससे डोज के बारे में पता चल जाएगा तो मरीजों को यह सहूलियत मिलेगी कि खत्म होने के पूर्व उन्हें दवा उपलब्ध हो जाएगी। हालांकि इस बीमारी की दवा का कोर्स छह माह अथवा जरूरत के अनुसार होती है। रोगी को लगातार दवा का सेवन करना पड़ता है। एक बार चेन टूटने पर फिर शुरू से दवा खानी पड़ती है। इसलिए घर के जिम्मेदारों को इस पर विशेष सतर्कता बरतनी चाहिए। उन्होंने बताया कि जनपद में साल 2019 से 2021 तक 6205 टीबी के मरीजों की खोज की गई है। मौजूदा समय में विभाग के द्वारा 1403 मरीजों का जियो टैगिंग की जा चुकी है और 10 जुलाई तक शत -प्रतिशत करने का लक्ष्य विभाग ने रखा है। उन्होंने बताया कि मौजूदा समय में स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के द्वारा भी क्षय रोगियों को गोद लिया गया है जिनका पूरा खर्च विभाग द्वारा उठाया जाता है । मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने भी दो बच्चों को गोद लिया है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *