सैकड़ों लोगों ने भगवान नरसिंह की चौथी जलेब में लिया हिस्सा
हिमाचल प्रदेश। अंतर्राष्ट्रीय कुल्लू दशहरा उत्सव के पांचवें दिन भगवान नरसिंह की चौथी जलेब निकली। ढोल-नगाड़े व वाद्ययंत्रों सहित निकली जलेब में सैकड़ों लोगों ने भाग लिया। एक किलोमीटर की परिधि तक निकलने वाली जलेब का शुभारंभ ढालपुर स्थित राजा की चानणी से हुआ। भव्य जलेब यात्रा उपायुक्त कार्यालय, जिला अस्पताल तथा कलाकेंद्र होकर शाही अंदाज में निकली। अलौकिक और आकर्षक जलेब में जिला कुल्लू के बाह्य सराज आनी के पांच देवताओं ने शोभा बढ़ाई। इस दौरान देवताओं के देवलुओं के साथ महिलाओं ने भी बड़ी संख्या में भाग लिया। ढोल-नगाड़ों, करनाल, नरसिंगों व शहनाई की स्वरलहरियों के बीच देवरथों के साथ देवता के सैकड़ों कारकून, हारियानों व देवलू पहाड़ी गीतों पर जमकर नाचे। जलेब यात्रा में सबसे आगे भगवान नरसिंह की घोड़ी तथा पीछे देवताओं के रथ, भगवान रघुनाथ के छड़ीबरदार महेश्वर सिंह पालकी में सवार थे। शाही जलेब यात्रा में देवता खुडीजल, ब्यास ऋषि, कोट पझारी, टकरासी नाग तथा चोतरू नाग के साथ उनके सैकड़ों देवलुओं ने भाग लिया। दशहरा उत्सव की अंतिम जलेब दशहरा उत्सव के छठे दिन मोहल्ला के बाद निकलेगी। देवता खुडीजल के कारदार शेर सिंह ठाकुर, कारदार भागे राम राणा, कारदार इंद्र सिंह तथा पुजारी रूप लाल शर्मा ने कहा कि बाह्य सराज के देवता हर साल दशहरा की जलेब में भाग लेते हैं। सदियों पुरानी चल रही परंपरा का निर्वहन किया जाता है। जलेब के माध्यम से ढालपुर में रक्षासूत्र बांधा जाता है।