उज्जैन। शुक्रवार से महाकालेश्वर मंदिर में शिवनवरात्रि की शुरुआत हो चुकी है। पुजारियों ने भगवान महाकाल को चंदन का उबटन लगाकर दूल्हा बनाया। नवीन वस्त्र धारण कराकर आरती की। इसके साथ ही अब नौ दिनों तक भगवान का विभिन्न रूपों में श्रृंगार किया जाएगा। शिवनवरात्रि के पहले दिन नैवेद्य कक्ष में भगवान चंद्रमौलेश्वर का पूजन और कोटितीर्थ के समीप स्थित भगवान कोटेश्वर व रामेश्वर महादेव का अभिषेक पूजन किया गया।
इसके बाद गर्भगृह में पुजारी घनश्याम गुरू के आचार्यत्व में 11 ब्राह्मण ने भगवान का अभिषेक कर एकादश-एकादशनी रुद्र पाठ किया। आज दोपहर 2:00 बजे भोग आरती और तीन बजे संध्या पूजा के बाद भगवान को नवीन वस्त्र धारण कराए जाएंगे। शिवनवरात्रि के पहले दिन भगवान को सोला, दुपट्टा व जलाधारी पर मेखला धारण कराने के साथ रजत आभूषण से श्रृंगार किया गया। देवी दुर्गा की उपासना करने वाले भक्त जिस तरह चैत्र और शारदीय नवरात्रि में उपवास रखते हैं। इसी प्रकार शिव के उपासक शिवनवरात्रि करते हैं। पुजारी के मुताबिक, महाकाल मंदिर के पुजारी, पुरोहित, भक्त भी आज से नौ दिन तक उपवास शुरू करेंगे।