UP: नवरात्रि से पहले सड़कों की मरम्मत न करने वाले कॉन्ट्रैक्टर जाएंगे जेल, इंजीनियर भी होंगे सस्पेंड

UP: उत्तर प्रदेश में योगी सरकार ने सड़क सुरक्षा को लेकर सख्‍त एक्‍शन लिया है. जिसके तहत हर घर नल से जल में पाइप लाइन बिछाने के लिए खोदी गई सड़कों की मरम्मत न करने और नल कनेक्शन की गलत रिपोर्टिंग करने वाली एजेंसियों को ब्लैकलिस्ट कर कॉन्ट्रैक्टर को जेल भेजा जाएगा. इसके साथ ही संबंधित अधिशासी अभियंता को भी निलंबित किया जाएगा.

दरअसल, प्रदेश के कई जिलों से पाइप लाइन बिछाने के बाद एजेंसी द्वारा सड़क की मरम्मत न करने की आ रही शिकायतों को देखते हुए राज्य पेयजल एवं स्वच्छता मिशन ऐसे कॉन्ट्रैक्टर और एजेंसियों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई करने की तैयारी कर रहा है.

यूपी में जारी हुआ फरमान

‘नमामि गंगे’ और ग्रामीण जलापूर्ति विभाग के प्रमुख सचिव अनुराग श्रीवास्तव ने उन सभी एजेंसियों और अधिशासी अभियंता के खिलाफ कड़ी कार्रवाई के निर्देश राज्य पेयजल एवं स्वच्छता मिशन के अधिशासी निदेशक को दिए हैं. वहीं, इस मामले को लेकर मिशन के अधिशासी निदेशक बृजराज सिंह यादव ने जल निगम ग्रामीण के सभी अधिशासी अभियंताओं और जल जीवन मिशन के सभी कॉन्ट्रैक्टर को पत्र लिखकर नवरात्रि से पहले सभी सड़कों को दुरुस्त करने और कनेक्शन वाले गांवों में नियमित जलापूर्ति करने को कहा है.

उन्‍होंने पत्र के जरिए सभी आधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि शारदीय नवरात्रि यानि 3 अक्टूबर से पहले पाइप लाइन बिछाने के लिए खोदी गई सड़कों की मरम्मत का काम पूरा कर लिया जाए. इसके साथ ही जिन योजनाओं में घरों में जलापूर्ति शुरू होने की रिपोर्ट बनाई गई है, लेकिन वास्तविक रूप से पानी की सप्लाई नहीं हो रही है, वहां तुरंत नल से क्लोरीन युक्त जल की नियमित सप्लाई की जाए, वरना संबंधित इंजीनियर और कॉन्ट्रैक्टर के खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी.

शिकायतों को दूर करने का दिया अल्टीमेटम

इसके अलावा, पाइपलाइन बिछाने के बाद सड़कों की मरम्मत न करने और कनेक्शन की गलत रिपोर्टिंग के मामले में भी अधिशासी अभियंताओं पर कार्रवाई की जाएगी. जिसमें पूर्वांचल के आठ अधिशासी अभियंता, पश्चिमी उत्तर प्रदेश में तैनात छह और अवध क्षेत्र में तैनात तीन अधिशासी अभियंताओं की शिकायतें सबसे ज्यादा है. इन अभियंताओं को शीघ्र कार्य संस्कृति में सुधार कर सभी शिकायतों को दूर करने का अल्टीमेटम दिया गया है. यदि इनके काम में सुधार नहीं होता है, तो विभाग इनके खिलाफ निलंबन की कार्रवाई करेगा.

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