सड़क परियोजनाओं के निर्माण में तेजी लाएं अधिकारी: वीके सिंह

हिमाचल प्रदेश। केंद्रीय परिवहन एवं सड़क राजमार्ग राज्यमंत्री जनरल वीके सिंह दो दिवसीय कुल्लू दौरे के बाद रविवार को दिल्ली लौट गए। शनिवार देर शाम को उन्होंने मनाली स्थित बड़ागढ़ रिसॉर्ट और स्पा में जिला प्रशासन, एनएचएआई और बीआरओ के अधिकारियों के साथ बैठक की। इसमें सूबे में बन रहे हाइवे, पुलों और टनलों के निर्माण की समीक्षा की। उन्होंने अधिकारियों को सड़क परियोजनाओं के निर्माण कार्य तय समयसीमा में पूरा करने के निर्देश दिए। उन्‍होंने कहा कि जिन सड़क परियोजनाओं के लिए धनराशि स्वीकृत की गई है, उनके निर्माण की प्रक्रिया मैं तेजी लाकर शीघ्र कार्य शुरू किया जाए। उन्‍होंने कहा कि सड़क परियोजना की डीपीआर बनाते समय भूमि अधिग्रहण के मामलों को बारीकी से देखा जाए। विशेषकर निर्मित भवनों एवं बस्तियों के मामलों को संवेदनशीलता के साथ सुलझाया जाए। किसी बड़ी एवं महत्वपूर्ण सड़क, पुल अथवा टनल जैसी परियोजनाओं की और आवश्यकता हो तो मामला फंडिंग के लिए मंत्रालय को भेजा जा सकता है। सड़क परिवहन एवं राष्ट्रीय राजमार्ग के क्षेत्रीय अधिकारी वरुण अग्रवाल ने कहा कि राज्य में 2592 किलोमीटर राष्ट्रीय उच्च मार्ग हैं। इनमें राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के पास 700 किलोमीटर लंबी सड़कों का कार्य है। 155 किलोमीटर लंबे फोरलेन का निर्माण कार्य पूरा कर लिया है। गत वर्ष 85 किमी लंबी सड़कों का निर्माण किया गया। चालू वित्त वर्ष में 194 किलोमीटर लंबी आठ परियोजनाओं को पूरा करने का लक्ष्य है। इनमें से चार सड़कों की निविदाएं आमंत्रित करना शेष है। भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण मुख्यालय के क्षेत्रीय अधिकारी अब्दुल बासित ने कहा कि 786 किमी लंबी सड़क परियोजनाओं के निर्माण का कार्य है, जिनमें 192 किमी परवाणू-शिमला, 236 किमी किरतपुर-मंडी-कुल्लू-मनाली का काम प्रगति पर है। शिमला-मटौर फोरलेन का कार्य अवार्ड कर दिया गया है। पिंजौर-बद्दी-नालागढ़ कॉरिडोर तथा पठानकोट से मंडी के कार्य अभी करना है। फोरलेन अथवा टू लेन बनने से 132 किमी की लंबाई कम होगी। सीमा सड़क संगठन की ओर से पीके बरुआ ने प्रस्तुति दी।

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