नई दिल्ली। महामारी के झटके के बावजूद 97.5 फीसदी भारतीय कंपनियां इस साल कर्मचारियों का वेतन औसतन 8.8 फीसदी बढ़ाएंगी। 2022 में 9.4 फीसदी वेतन वृद्धि की उम्मीद है। मंगलवार को जारी एऑन की 26वें वार्षिक वेतन वृद्धि सर्वे में कहा गया है कि ज्यादातर कंपनियों अगले साल को लेकर ज्यादा आशान्वित हैं। इस दौरान 98.9 फीसदी कंपनियां वेतन बढ़ाएंगी। 2020 में 6.1 फीसदी वेतन वृद्धि हुई थी। सर्वे के मुताबिक, महामारी के बाद विभिन्न क्षेत्रों की धारणा सकारात्मक है। भारतीय कंपनियां सुधार की राह पर हैं। ज्यादातर कंपनियों का मानना है कि 2021-22 में वेतन वृद्धि 2018-19 के स्तर पर पहुंच जाएगी। एऑन के मानव पूंजी कारोबार में भागीदार रूपंक चौधरी का कहना है कि चीजें स्पष्ट रूप से बेहतर हो रही हैं। यह वित्तीय सेहत और अर्थव्यवस्था में तेजी का मजबूत संकेत है। उन्होंने कहा कि 2021 में डिजिटल एवं तकनीक कौशल से लैस कर्मचारियों की मांग सबसे ज्यादा रही है। इसलिए इस साल इन कर्मचारियों के वेतन में सबसे ज्यादा वृद्धि की उम्मीद है। सर्वे में कहा गया है कि महामारी की वजह से कंपनियों की डिजिटल यात्रा तेज हुई है। इससे कम अवधि में डिजिटल प्रतिभाओं के लिए ‘जंग’ छिड़ी है। इससे न सिर्फ वेतन का बजट बढ़ रहा है बल्कि विभिन्न क्षेत्रों में नौकरी बदलने वालों की संख्या भी बढ़ी है। इस जंग में बने रहने के लिए कंपनियों को अपनी प्रतिभा की रणनीति को नए सिरे से परिभाषित करना होगा। परंपरागत और गैर-परंपरागत क्षेत्रों की भारतीय कंपनियां डिजिटल क्षमताओं में निवेश कर रही हैं ताकि वे वृद्धि की रफ्तार को कायम रख सकें।