Weather Forecost: इस वर्ष सामान्य की तुलना में देरी से आ रहा है। मानसून 19 मई से अंडमान निकोबार द्वीप समूह के ऊपर ही अटका हुआ था। लेकिन अब मानसून ने रफ्तार पकड़ ली है। जिससे अब देश के ज्यादातर हिस्सों में 15 जून से बारिश शुरू होने की आंशका जताई जा रही है। वहीं आईएमडी के मुताबिक 22 से 26 मई अंडमान निकोबार द्वीप समूह को पार करते हुए बंगाल की खाड़ी में बढ़ जाना चाहिए था। लेकिन मानसून वही अटक गया था और अब 31 मई को अंडमान निकोबार को पार कर उस स्थिति में पहुंचा।
आईएमडी ने मानसून की रफ्तार को देखते हुए अनुमान लगाया है कि करीब 1 जून को मानसूनी बारिश केरल और तमिलनाडु वहीं पांच जून तक कर्नाटक, आंध्र प्रदेश और पूर्वोत्तर में शुरू हो जाएगी। तथा 10 जून तक मानसून महाराष्ट्र और तेलंगाना पहुंच जाएगा। इसके साथ ही 15 जून से गुजरात, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, झारखंड, ओडिशा, बंगाल, बिहार और उत्तर प्रदेश के ज्यादातर हिस्सों में झमाझम मानसूनी बारिश शुरू हो जाएगी। राजस्थान, हरियाणा, पंजाब, उत्तराखंड, हिमाचल और जम्मू-कश्मीर में मानसूनी बारिश 20 जून से से शुरू हो जाएगी। यह दौर आठ जुलाई तक जारी रहेगा।
मानसून के हिसाब से बन रही हैं परिस्थितियां
आईएमडी के मुताबिक बताया जा रहा है कि उत्तरी पाकिस्तान के ऊपर मध्य और ऊपरी क्षोभमंडलीय स्तर पर चक्रवाती प्रवाह बना हुआ है। इसके साथ ही पंजाब के ऊपर क्षोभमंडल के निचले स्तर पर चक्रवात प्रेरित हवाएं चल रही हैं। जिसके वजह से पश्चिमी विक्षोभ की स्थिति बनी हुई है। वहीं दक्षिण-पश्चिम राजस्थान और उससे सटे पाकिस्तान व मध्य प्रदेश में भी क्षोभमंडल के निचले स्तरों पर चक्रवाती हवाएं चल रहीं हैं। इसके बाद 1 जून से एक और पश्चिमी विक्षोभ उत्तर-पश्चिम में शुरू हो जाएगा, जो मानसून की गति को उसके स्थिति में बरकरार रखेगा।
अगले 5 दिनों तक कैसा रहेगा मौसम
वहीं मौसम विभाग ने बताया कि अगले पांच दिनों तक पूरे उत्तर-पश्चिमी भारत में 50 से 70 किमी प्रतिघंटे की रफ्तार से हवाएं चलने की आशंका जताई जा रही है। इसके साथ ही अलग-अलग जगहों पर बादल गरजनें के साथ बारिश होने की भी भविष्यवाणी की गई है। मुख्यतौर पर राजस्थान, हिमाचल और जम्मू-कश्मीर में तेज बारिश की गुंजाइश है। 5 दिनों के दौरान उत्तर-पश्चिमी भारत के ज्यादातर हिस्सों में अधिकतम तापमान 40 डिग्री सेल्सियस से नीचे ही बना रहेगा।