कोलकाता। शनिवार को पूर्व सैनिकों के सम्मान में पूर्वी सेना कमान मुख्यालय में सातवां पूर्व सैनिक दिवस पूरे सैन्य सम्मान के साथ मनाया गया। इस मौके पर कोलकाता में पूर्वी सेना कमान मुख्यालय फोर्ट विलियम स्थित विजय स्मारक पर श्रद्धांजलि समारोह का आयोजन हुआ। आर्मी कमांड पूर्वी कमान के मेजर जनरल एसएस काहलों, जेओसी बंगाल सब एरिया समेत तीनों सेनाओं के वरिष्ठ अधिकारियों ने माल्यार्पण कर भारतीय सशस्त्र बलों के वीर योद्धाओं को श्रद्धांजलि दी। इस अवसर पर कई पूर्व सैन्य अधिकारी भी उपस्थित थे, जिन्होंने शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की। यह दिन हर वर्ष भारतीय सशस्त्र बलों के पहले कमांडर-इन-चीफ, फील्ड मार्शल केएम करियप्पा, ओबीई द्वारा प्रदान की गई सेवाओं की मान्यता के रूप में मनाया जाता है, जो 14 जनवरी, 1953 जो सेवानिवृत्त हुए थे।
असम के आठ मेडिकल कॉलेजों में कैशलेस सुविधा पर हस्ताक्षर
सेना के वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि भारतीय सेना कई कार्यक्रमों के माध्यम से पूर्व सैनिकों के कल्याण लगी हुई है। इनमें कई पुरानी योजनाएं हैं, जबकि कई नई योजनाओं की भी शुरुआत की गई है। नई पहलों में से एक है समय पर और अच्छे चिकित्सा उपचार के प्रावधानों पर जोर देना है। हाल ही में असम सरकार के स्वास्थ्य विभाग और भारतीय सेना के साथ एक करार में हस्ताक्षर हुए हैं। इससे पूर्व सैनिकों को काफी लाभ मिलेगा। इसके अंतर्गत असम कैंसर केयर फाउंडेशन के आठ मेडिकल कॉलेजों और 10 इकाइयों में पूर्व सैनिकों को कैशलेस और कैपलेस उपचार की सुविधा मिलेगी।
दूरस्थ क्षेत्रों में 37 वयोवृद्ध केंद्रों की स्थापना :-
इस मौके पर अधिकारी ने कहा कि दूरस्थ और दुर्गम क्षेत्रों में 37 वयोवृद्ध सुविधा केंद्र (वीएसके) स्थापित करके एक और पहल की गई। इन वीएसके का मुख्य फोकस भूतपूर्व सैनिकों को उनकी पेंशन, पात्रता आदि से संबंधित विभिन्न मुद्दों से संबंधित सहायता प्रदान करना है। इसी तरह का एक अन्य प्रयास 6 जनवरी को रांची में रक्षा पेंशन समाधान योजना के माध्यम से पेंशनरों की शिकायतों का मौके पर समाधान आयोजित किया गया था। उपरोक्त के अलावा वर्षभर विभिन्न क्षेत्रों, जैसे नौकरी प्रतिस्थापन, कौशल विकास और शिक्षा सुविधाओं आदि पर कई कार्यक्रम आयोजित किए गए। सेना अपने पूर्व सैनिकों के लिए की हर तरह की सहायता के लिए हर वक्त उनके साथ खड़ा है।
यह बहुत बड़ा दिन: अरुप साहा :-
पूर्व एयर चीफ मार्शल अरुप साहा ने कहा, यह एक बहुत बड़ा दिन है। जिन्होंने अपना सारा जीवन देश के लिए समर्पित कर दिया, उनको याद करने का दिन वास्तव में बहुत बड़ा दिन होता है। जिन्होंने देश के लिए अपना सब कुछ त्याग दिया, उनको श्रद्धांजलि देते हुए बहुत गर्व होता है। उनके पदचिन्हों पर चल कर हमारे जवान देश की रक्षा में सदैव तत्पर रहते हैं।
सरकार भी पूर्व सैनिकों की भलाई के लिए बहुत कुछ कर रही : दास
समारोह में शामिल होने आए टीडी दास ने कहा, यहां आकर बहुत गर्व महूसस हो रहा है। सरकार भी पूर्व सैनिकों की भलाई के लिए बहुत कुछ कर रही है। वन रैंक, वन पेंशन की योजना भी बहुत अच्छी है। 71 की जंग में पश्चिमी इलाके में हिस्सा लेने वाले दास कहते हैं- बहुत दिनों से जीआर के बैंड का धुन सुन नहीं पाए थे। आज जीआर बैंड की धुन सुनने को मिली। पुराने दिन याद आ गए, कहते हुए भावुक हो जाते हैं दास। उनकी धुन और हॉस्पिटैलिटी सुनकर और देखकर बहुत अच्छा महसुस हुआ।